भुवनेश्वरः16फरवरीःअशोक पाण्डेयः
16फरवरी को अपने कन्वेशन सेण्टर पर कीट डीम्ड विश्वविद्यालय,भुवनेश्वर ने हर्षोल्लास के साथ मनाया अपना 18वां स्थापना दिवस। समारोह के मुख्य अतिथि तथा 18वें फाउण्डेशन दिवस समारोह के मुख्यवक्ता मि.बिसो पारालुजी,डब्लूएफपी,इण्डिया,प्रतिनिधि ने अपने सारगर्भित संबोधन में यह बताया कि भारत की खाद्य सुरक्षा प्रणाली विश्व के लिए एक उदाहरण है।उन्होंने बताया कि कीट डीम्ड विश्वविद्यालय,भुवनेश्वर पिछले कुल 18 वर्षों से अपनी उत्कृष्ट तालीम,अत्याधुनिक शैक्षिक संसाधनों के बदौलत असाधरण कीर्तिमान तथा प्रशंसनीय उपलब्धि प्राप्त की है जिसके लिए कीट-कीस के प्राणप्रतिष्ठाता तथा कंधमाल लोकसभा सांसद बधाई के वास्तविक हकदार हैं। कीट ने ज्ञान के क्षेत्र में,राष्ट्रीय निर्माण के क्षेत्र में तथा रोजगार के क्षेत्र में युवाओं को बेहतर सुअवसर प्रदान किया है। उन्होंने यह भी बताया कि भारत के लगभग तीस हजार युवाओं तथा विश्व के कुल लगभग 65 देशों के युवाओं के भविष्य को बनानेवाले कीट प्राणप्रतिष्ठाता प्रोफेसर अच्युत सामंत की उनके जीवन की सबसे बडी महात्वाकांक्षी योजना है जिसका शुभारंभ उन्होंने 1992-93 में अपनी कुल जमा पूंजी मात्र पांच हजार रुपये से की थी। आज दोनों ही संस्थाएं डीम्ड विश्वविद्यालय(कीट डीम्ड विश्वविद्यालय,भुवनेश्वर तथा विश्व का प्रथम आदिवासी आवासीय डीम्ड विश्वविद्यालय,भुवनेश्वर) बन चुके हैं।कीट को भारत करकार की ओर से इन्स्टीट्यूशन आफ इमीनेंस जैसे अनेक अन्तर्राष्ट्रीय सम्मान मिल चुका है। उन्होंने भारत के विषय में यह बताया कि पिछले लगभग 50 वर्षों से भारत खाद्य के क्षेत्र में स्वावलंबी बनकर खाद्य सुरक्षा के क्षेत्र में दुनिया का एक उदाहरण बन चुका है। वैश्विक महामारी कोरोनाकाल में भारत की खाद्य उत्पादन की आदि की उन्होंने सराहना की। अपने स्वागत संबोधन में कीट-कीस के प्राणप्रतिष्ठाता तथा कंधमाल लोकसभा सांसद प्रोफेसर अच्युत सामंत ने बताया कि कीट अपनी स्थापना के आरंभ से ही इंसानीयत तथा दयालुता के आदर्श को अपनाकर उत्कृष्ट जीवनोपयोगी शिक्षा उपलब्ध कराने के साथ जीवन के विकास के विभिन्न क्षेत्रों में शोधकार्य को बढावा देने,खेलकूद को प्रोत्साहन देने,संस्कृति संरक्षण,आर्ट, आदिवासी सशक्तिकरण तथा विकास तथा आध्यात्मिक विकास आदि के क्षेत्र में काम कर रहा है। इसके लिए कीट के सभी छात्र-छात्राएं,उनके अभिभावकगण,कीट के सभी शैक्षिक तथा गैरशैक्षिक अधिकारी तथा सहयोगी को बहुत-बहुत बधाई।अपने संबोधन में कीट डीम्ड विश्वविद्यालय,भुवनेश्वर की कुलपति प्रोफेसर एस सामंत ने अपने अध्यक्षीय भाषण में कीट में अध्ययनरत लगभग 70 देशों के लिए कीट-संस्कृति विश्व नागरिकता को विकसित करने में सहायक बताया। अवसर पर प्रोफेसर अच्युत सामंत तथा मि.बिसो पारालुजी,डब्लूएफपी,इण्डिया,प्रतिनिधि के मध्य कीट-कीस के साथ बेहतर संबंध मनाये रखने पर एक करारनामे पर हस्ताक्षर हुए । मौके पर कीस डीम्ड विश्वविद्यालय,भुवनेश्वर के कुलपति प्रोफेसर दीपक कुमार भी उपस्थित थे। कीट डीम्ड विश्वविद्यालय,भुवनेश्वर के वायसचांसर प्रोफेसर सरनजित सिंह ने आभार व्यक्त किया।
अशोक पाण्डेय
कीट डीम्ड विश्वविद्यालय,भुवनेश्वर ने मनाया अपना 18वां स्थापना दिवस भारत की खाद्य सुरक्षा प्रणाली विश्व के लिए एक उदाहरण है।– मि.बिसो पारालुजी, डब्लूएफपी, इण्डिया प्रतिनिधि एवं मुख्य अतिथि
