भुवनेश्वरः10नवंबरःअशोक पाण्डेयः
लोक आस्था के महापर्व की तीसरी शाम भुवनेश्वर में समस्त छठव्रतधारियों ने अपने-अपने घर पर ही अस्ताचलगामी सूर्यदेव व छठ परमेश्वरी को पूरे विधि-विधान के साथ दिया सायंकालीन का प्रथम अर्घ्य। भुवनेश्वर बरमुण्डा निवासी इंजीनियर राजकुमार की माताजी श्रीमती छाया देवी ने अपने परिवार के सभी सदस्यों श्री महेश कुमारजी,इंजीनियर श्री राजकुमारजी. श्रीमती सुभद्रा देवी, सुश्री रीया राज,सुश्री रायमा राज,बालक शुभम् राज तथा अपने समस्त शुभचिंतकों के साथ अपने ही छत पर तैयार छठघाट पर जलकुण्ड में खडे होकर भगवान सूर्यदेव और उनकी बहन षष्ठी माता अर्थात् छठ परमेश्वरी को सायंकाल का प्रथम अर्घ्य दिया। इसप्रकार 10नवंबर,कार्तिक शुक्लपक्ष की षष्ठी की शाम यादगार रही। शुद्धता,पवित्रता,लोक आस्था और विश्वास का संदेश सभी को मिला। अब इंतजार है 11नवंबर,कार्तिक शुक्लपक्ष की सप्तमी के भोर का जब उगते हुए सूर्यदेव को अंतिम अर्घ्य देकर छठव्रतधारी अपना-अपना अखण्ड व्रत तोडेंगे और अपने स्वजनों,हितैषियों और जान-पहचान के लोगों को छठ का ठेकुआ प्रसाद आदि देंगे जिसके सेवन मात्र से सभी प्रकार की मनोकामना पूर्ण होगी।
अशोक पाण्डेय