भुवनेश्वरः12 अक्टूबरःअशोक पाण्डेयः
स्थानीय उत्कल अनुज हिन्दी पुस्तकालय सभागार में 11 अक्टूबर की शाम में पुस्तकालय के मुख्य संरक्षक सुभाष चन्द्र भुरा की अध्यक्षता में वाल्मीकि जयंती के उपलक्ष्य में हिन्दी कवितापाठ का आयोजन किया गया जिसमें आरंभिक जानकारी देते हुए अशोक पाण्डेय ने बताया कि ब्रह्माजी के निवेदन पर विद्या की देवी मां सरस्वती ने त्रेतायुग में तमसा नदी के चट पर तपस्या कर रहे वाल्मीकि के कण्ठ में प्रवेश किया और उसी वाल्मीकि ने संस्कृत में प्रथम महाकाव्य रामायण की रचना की और आदिकवि कहलाए। श्री पाण्डेय ने यह भी बताया कि कार्तिक माह 07 अक्टूबर से आगामी 5 नवंबर तक चलेगा जो हर प्रकार की पवित्रता का पावन संदेशवाहक है। जैसेःअपनी व्यक्तिगत स्वच्छता,अपनी पाकशाला,घर-आंगन,आस-पड़ोस की सफाई तथा सबसे बड़ी बात यह है कि हमें अपने विचारों की सफाई को संकल्पित भाव से करनी चाहिए। अवसर पर स्थानीय दूरदर्शन के कार्यक्रम प्रभारी आशीष खरे,एएनआई के तकनीकी प्रमुख नरेन्द्र जी,जयलुकाश,ज्वेलरी प्रमुख तथा कवि किशन खण्डेलवाल को सुभाष चन्द्र भुरा ने अंगवस्त्र तथा स्मृति चिह्न प्रदानकर सम्मानित किया। अवसर पर मुरारीलाल लढानिया,गोपालकृष्ण सिंह,रुणु रथ,विक्रमादित्य,मनीष पाण्डेय,रवीन्द्र दुबे,भारती परिडा,आशीष खरे,नरेन्द्र,स्मिता कानुनगो,शशि मेमानी,अमित रंजन,अविनाश दाश,राजेश तिवारी और किशन खण्डेलवाल ने अपनी-अपनी कविताओं का सस्वर पाठ किया।
अशोक पाण्डेय
वाल्मीकि जयंती के उपलक्ष्य में हिन्दी कविता-पाठ आयोजित
