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कीट डीम्ड विश्वविद्यालय,भुवनेश्वर का मेधावी छात्र स्नेहदीप कुमार रॉयल एस्ट्रोनॉमिकल सोसाइटी, लंदन के लिए हुआ मनोनीत

कीट-कीस के तपस्वी प्राणप्रतिष्ठाता प्रो.अच्युत सामंत ने स्नेहदीप को दी हार्दिक बधाई

भुवनेश्वरः16दिसंबरःअशोक पाण्डेयः
16दिसंबर को कीट-कीस के तपस्वी प्राणप्रतिष्ठाता प्रो.अच्युत सामंत ने अपने कीट डीम्ड विश्वविद्यालय,भुवनेश्वर केएक मेधावी छात्र स्नेहदीप कुमार के रॉयल एस्ट्रोनॉमिकल सोसाइटी, लंदन के लिएमनोनीत किये जाने पर उसको हार्दिक बधाई दी।स्नेहदीप कुमार कीट इलेक्ट्रॉनिक्स और इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग का एक मेधावी छात्र है।स्नेहदीप ने यह उपलब्धि प्राप्तकर अपना नाम दुनिया के महानतम वैज्ञानिकों जैसे चार्ल्स बैबेज और विलियम हर्शल के जैसे विश्व के चोटी के विद्वानों में जोड लिया है।दी रॉयल सोसाइटी ऑफ केमिस्ट्री के अध्यक्ष डॉ टॉम वेल्टन द्वारा स्नेहदीप कुमार को नामित किया गया था।स्नेहदीप की असाधारण उपलब्धि से कीट डीम्ड विश्वविद्यालय में खुशी की लहर छाई है।प्रो.सामंत ने स्नेहदीप की बहुमुखी उपलब्धियां का उल्लेख करते हुए पूरे कीट-कीस के छाक्ष-छात्राओं के लिए उसे प्रेरणा का स्त्रोत बताया जो अपने-अपने जीवन में वैज्ञानिक बनने का लक्ष्य रखते हैं।यह भी उल्लेखनीय है कि मई 2021 में, स्नेहदीप ने ऑरोरा एकेडमिक जर्नल नामक एक ऑनलाइन अंतःविषय पत्रिका नामक अपनी खुद की पत्रिका शुरू करने का फैसला किया, ताकि मूल शोध वाले उज्ज्वल छात्रों की मदद की जा सके जो प्रकाशन के लिए भुगतान नहीं कर सकते थे। दुनिया भर में, उनके पास जल्द ही एक टीम थी। जर्नल दुनिया भर से और विषयों में प्रविष्टियां लेता है। वेबसाइट को एक दिन में 500 हिट्स मिलते हैं, जिनमें डॉ. रॉबर्ट लेफकोविट्ज़, रसायन विज्ञान में नोबेल पुरस्कार विजेता, डॉ. जेरार्ड’ट हूफ़्ट, भौतिकी में नोबेल पुरस्कार विजेता और डॉ. टॉम वेल्टन, रॉयल सोसाइटी ऑफ़ केमिस्ट्री के अध्यक्ष के साक्षात्कार शामिल हैं।अक्टूबर 2021 में, स्नेहदीप ने नेबुला अंतरिक्ष संगठन की सह-स्थापना की, जो पूरी तरह से छात्रों द्वारा संचालित पहला अंतरिक्ष संगठन है। संगठन 2023-24 तक दुनिया की सबसे छोटी अंतरिक्ष दूरबीन लॉन्च करने का लक्ष्य बना रहा है।वह हार्वर्ड यूनिवर्सिटी में हार्वर्ड क्रिमसन एंटरप्रेन्योरशिप सोसाइटी में इनोवेशन फेलो भी है और प्रतिष्ठित न्यूयॉर्क एकेडमी ऑफ साइंसेज के युवा शोधार्थी भी। हाल ही में उन्हें राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय विश्वविद्यालयों में पढ़ने के लिए लाइफोलॉजी द्वारा 56 लाख की छात्रवृत्ति भी मिली है। स्नेहदीप की यात्रा मार्च, 2022 में प्रसिद्ध ऑनलाइन समाचार पत्र, ग्लोबल इंडियन में प्रकाशित हुई थी, जिसमें उन्हें ‘किशोर वैज्ञानिक’ के रूप में वर्णित किया गया था। स्नेहदीप के पिता, श्री तुषार कांति कुमार भारतीय इस्पात प्राधिकरण (सेल) में काम करते हैं और उनकी माँ एक गृहिणी हैं।
पूरे कीट-कीस-कीम्स शैक्षिक समूह की ओर से स्नेहदीप कुमार को बहुत-बहुत बधाई।
अशोक पाण्डेय

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